अंकविद्या अनुसार आपकी भाग्यवृद्धि - Ankvidya Anusar Aapki Bhagyavriddhi

अंकविद्या अनुसार आपकी भाग्यवृद्धि

अंकविद्या अपने आप में सम्पूर्ण ज्योतिष विज्ञान है| मात्र आपकी जन्मस्तिथि के अंको को जोड़ कर जो अंक बनता है, उसे अंकविद्या में मूलांक कहते है| मात्र उसी अंक से आपकी भाग्यवृद्धि का निर्णय हो जाता है| आपका व्यवसाय किस दिशा में सफल होगा? अथवा आपका व्यवसाय स्थल किस दिशा में होना चाहिए जिससे आपके प्रवेशदावर से सदा लक्ष्मी प्रवेश करे –

मूलांक १: आपका जन्म १, १०, १९, २८ को हुआ है तो आपके धनागमन की डिश दक्षिण – पूर्व होगी| यवक्तिगत विकास की दिशा उत्तर होगी| अतः सफ़ेद वस्त्र/रुमाल पर ‘१’ लिख सदा पास रखें|

मूलांक २: २, ११, २०, २९ तिथियों को जन्मे जातकों की भाग्यवृद्धि उत्तर, पूर्व, स्वास्थ्य पश्चिम दिशा, पारिवारिक सुख शांति उत्तर – पश्चिम तथा व्यक्तिगत विकास दक्षिण – पश्चिम में होगा| आप रेशमी चोकोबार वस्त्र पर चमकीले सितारे लगा कर सदा अपने पास रखें| धन वृद्धि होगी|

मूलांक ३: ३, १२, २१, ३० जन्मस्तिथि वालों के लिए दक्ष्विन – पश्चिम दिशा, स्वास्थ्य के लिए उत्तर – दक्षिण व् पूर्व, सुख शांति के लिए शुभ है| आपक पीले रैंक के रेशमी वस्त्र में चांदी का चोकोबार टुकड़ा बाँध कर रखें|

मूलांक ४: ४, १३, २२, ३१ तिथि वालों के लिए उत्तर दिशा शुभ है, तथा पारिवारिक सुख – शान्ति दक्षिण दिशा से होगी| आप भूरे रंग के रेशमी रुमाल या वस्त्र में ७ काली मिर्च के दाने बाँध कर रखें|

मूलांक ५: ५, १४, २३ जन्मस्तिथि वाले जातकों के लिए उत्तर – पूर्व दिशा भग्यवर्धक है तथा स्वास्थ्य एवं व्यक्तिगत विकास के लिए दक्षिण – पश्चिम दिशा शुभ है| आप हरे रंगव के रुमाल में ताम्बे का पैसा बाँध कर रखें|

मूलांक ६: ६, १५, २४ तिथियों को जन्मे जातकों के लिए पश्चिम – उत्तरी पश्चिम दिशा व्यवसाय के लिए, उत्तर – पूर्व स्वास्थ्य के लिए, दक्षिण – पश्चिम पारिजव्रिक शान्ति के लिए शुभ होगी| आपक शुक्रवार को अपने पर्स में गुलाबी रंग के वस्त्र पर ६ का अंक लिख अपने पास रखें|

मूलांक ७: ७, १६, २५ तिथियों को जन्मे व्यक्तियों के लिए पश्चिम दिशा से भञोत्रति होगी, दक्षिण – पश्चिम दिशा से स्वास्थ्य, पूर्व – दक्षिण दिशा से व्यक्तिगत विकास होगी| आप सुनहरे रंग के वस्त्र में पीली सरसों बाँध अपने पास रखें|

मूलांक ८: ८, १७, २६ जन्म तिथि वाले दक्षिण – पश्चिम दिशा से भञोत्रति, उत्तर – पश्चिम दिशा से स्वास्थ्य लाभ, पश्चिम से व्यक्तिगत विकास प्रास करेंगे| ये लोग पीले रंग के वस्त्र में २१ दाने चावल बाँध कर सदा अपने पास रखें|

मूलांक ९: ९, १८, २७ जन्मस्तिथि के जातकों पूर्व दिशा से भञोत्रति एवं लक्ष्मी प्रास होगी| स्वास्थ्य लाभ के लिए दक्षिण – पूर्व, पारिवारिक शान्ति उत्तर, व्यक्तिगत विकास के लिए दक्षिण दिशा शुभ है| आप मंगलवार को लाल रंग का रुमाल अपने पास रखें| अपने मुखदावर के बाहर लक्ष्मी के चरण चिन्ह लगाएं, अपने टॉयलेट में समुद्री नगर, कांच की कटोरी में भर कर रखें, इन सभी दिशाओं में अपने व्यावसायिक स्थलों पर सदा अपना मुख पूर्व अथवा पर्वोत्तर की ओर करके बैठे तो आशातीत धन की वृद्धि होगी|

अपने मुख द्वार के अंदर और बाहर, दाहिनी ओर गणेश जी का चित्र लगाएं या स्वस्तिक का केसरी या लाल रंग का चिन्ह अंकित करे|

अपने व्यावसायिक स्थल पर लाल वस्त्र में धूलि हुई मसूर की दाल बांधे तथा लक्ष्मी यंत्र, व्यापार वृद्धि यंत्र, कुबेर यंत्र रखें| अपने मुख द्वार के आगे की स्थल को नित्य जल से धोएं| व्यापारिक स्थल में नित्य केसर युक्त जल से छींटा दें|

Check Also

World Thalassemia Day Information For Students

World Thalassemia Day: Date, History, Celebration & Theme

World Thalassemia Day is celebrated every year on 8th of May to increase the awareness …