मुझको नींद बहुत है आती सुबह-सुबह। मेरी नींद नहीं खुल पाती सुबह-सुबह। मम्मी टेप लगातीं उठने-उठने की पापा की बातों में धमकी पिटने की दोनों कहते जल्दी शाला जाना है नल चालू है उठकर शीघ्र नहाना है पर मुझको तो नींद सुहाती सुबह-सुबह मेरी नींद नहीं खुल पाती सुबह-सुबह। मम्मी तो उठ जातीं मुँह अँधियारे में पापा टहलें सुबह-सुबह गलियारे …
Read More »Wisdom Poem for Parents: Ticket For Life
Bandage scraped knees. Kiss away fears. Watch their heartbreak and dry their tears. Teach them to know what’s right and what’s wrong. Show them how to be gentle and when to be strong. Tell them you love them, and then let it show. That’s the easiest part of helping them grow. There needs to be discipline, but don’t over do …
Read More »English Love Poem For Parents From Child: My Parents
You are both special in every way, Encouraging me more and more each passing day. You both are the reason why I’m so strong, With you two at the helm not a thing could go wrong. You’ve both helped me through many trials and tribulations, You’ve made things better in every situation. Thank you both for always being there, And …
Read More »Agyeya Contemplation Poem on Lost Love प्राण तुम्हारी पदरज फूली
प्राण तुम्हारी पदरज फूली मुझको कंचन हुई तुम्हारे चंचल चरणों की यह धूली! आईं थीं तो जाना भी था – फिर भी आओगी‚ दुख किसका? एक बार जब दृष्टिकरों से पदचिन्हों की रेखा छू ली! वाक्य अर्थ का हो प्रत्याशी‚ गीत शब्द का कब अभिलाषी? अंतर में पराग सी छाई है स्मृतियों की आशा धूली! प्राण तुम्हारी पदरज फूली! ∼ …
Read More »Gopal Singh Nepali Inspirational Hindi Poem on Frustration कुछ ऐसा खेल रचो साथी
कुछ ऐसा खेल रचो साथी कुछ जीने का आनंद मिले कुछ मरने का आनंद मिले दुनियां के सूने आंगन में कुछ ऐसा खेल रचो साथी वह मरघट का सन्नाटा तो रह रह कर काटे जाता है दुख दर्द तबाही से दब कर मुफ़लिस का दिल चिल्लाता है यह झूठा सन्नाटा टूटे पापों का भरा घड़ा फूटे तुम जंजीरों की झनझन …
Read More »Gopal Singh Nepali Hindi Bal-Kavita यह लघु सरिता का बहता जल
यह लघु सरिता का बहता जल‚ कितना शीतल‚ कितना निर्मल। हिमगिरि के हिम निकल–निकल‚ यह विमल दूध–सा हिम का जल‚ कर–कर निनाद कलकल छलछल‚ बहता आता नीचे पल–पल। तन का चंचल‚ मन का विह्वल। यह लघु सरिता का बहता जल। निर्मल जल की यह तेज धार‚ करके कितनी श्रृंखला पार‚ बहती रहती है लगातार‚ गिरती–उठती है बार बार। रखता है …
Read More »Gopal Singh Nepali Hindi Love Poem यह दिल खोल तुम्हारा हँसना
प्रिये तुम्हारी इन आँखों में मेरा जीवन बोल रहा है बोले मधुप फूल की बोली, बोले चाँद समझ लें तारे गा–गाकर मधुगीत प्रीति के, सिंधु किसी के चरण पखारे यह पापी भी क्यों–न तुम्हारा मनमोहम मुख–चंद्र निहारे प्रिये तुम्हारी इन आँखों में मेरा जीवन बोल रहा है देखा मैंने एक बूँद से ढँका जरा आँखों का कोना थी मन में …
Read More »Hullad Muradabadi Hasya Vyang Poem on Drinking पीने का बहाना
हौसले को आज़माना चाहिये मुशकिलों में मुसकुराना चाहिये खुजलियाँ जब सात दिन तक ना रुकें आदमी को तब नहाना चाहिये साँप नेता साथ में मिल जाएँ तो लट्ठ नेता पर चलाना चाहिये सिर्फ चारे से तसल्ली कर गए आपको तो देश खाना चाहिये! जो इलैक्शन हार जाए क्या करे? तिरुपति में सिर मुँडाना चाहिये हाथ ही अब तक मिलाए आज …
Read More »Hindi Bal-Kavita telling Money can’t buy everything पैसे की सीमा
पैसा किताब खरीद सकता है, विद्या नहीं। पैसा साज़ खरीद सकता है, स्वर नहीं। पैसा डॉक्टर खरीद सकता है, जीवन नहीं। पैसा मूर्ति खरीद सकता है, भगवान नहीं। पैसा शरीर खरीद सकता है, आत्मा नहीं। पैसा कलम खरीद सकता है, सुलेख नहीं। पैसा बिस्तर खरीद सकता है, नींद नहीं। पैसा लड़का खरीद सकता है, बेटा नहीं। पैसा आराम खरीद सकता …
Read More »Popular Sanskrit Proverbs सूक्तयः (सूक्तियां)
सूक्तयः (सूक्तियां) Sanskrit Proverbs
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