मान्यताओं के अनुसार मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम 14 वर्ष के वनवास के दौरान नासिक के पास स्थित तपोवन नामक स्थान पर ठहरे थे। यहीं लक्ष्मण ने शूर्पणखा की नाक काटी थी और इसलिए इस जगह का नाम नासिक पड़ा, जोकि एक नाक का ही अनुवाद रूप है। 150 ईसा पूर्व के प्रसिद्ध दार्शनिक प्लोतेमी ने भी नासिक का उल्लेख किया …
Read More »महाबलिपुरम, तमिलनाडु
तमिलनाडु राज्य की राजधानी चेन्नई से करीब 60 कि.मी. दक्षिण की ओर सागर तट पर स्थित है – महाबलिपुरम। यह स्थान अपने पुरातन मंदिरों तथा स्थापत्य कला के वैभव के लिए भारत ही नहीं, संपूर्ण जगत में मशहूर है। यह ऐतिहासिक तथ्य है कि पत्थरों को तराश कर कलात्मक मंदिरों तथा गुफाओं के निर्माण का काम पल्लव राजवंश के राजाओं …
Read More »मानसरोवर झील, तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र, चीन
पौराणिक कथाओं के अनुसार सुबह के ब्रह्म मुहूर्त में देवी-देवता स्नान के लिए मानसरोवर झील आते हैं। पवित्र पक्षी राजहंस भी यहां स्नान करते हैं। धार्मिक मान्यता है कि, इस झील में स्नान करने पर आदमी के सभी पाप धुल जाते हैं और इसका जल पीने से उसे मृत्यु के बाद स्वर्ग में स्थान मिलता है। Lake Manasarovar also called Mapam …
Read More »इंडोनेशिया धर्मनिरपेक्षता की अद्भुत मिसाल
विश्व के मुस्लिम बहुल देशों में इंडोनेशिया धर्मनिरपेक्षता का अद्भुत उदाहरण पेश करता है जब वहां हिंदू अपने उत्सव मनाते हैं और इस्लाम के बड़े-बड़े धर्मगुरु भी इन समारोहों में बढ़-चढ़ कर भाग लेते हैं। इंडोनेशिया की आबादी 23 करोड़ के लगभग है। इस देश में इस्लाम के अनुयायी 88 प्रतिशत हैं जबकि हिंदू धर्म को मानने वाले लोगों की …
Read More »भारत में ज्ञान और बुद्धि की देवी सरस्वती के 5 चमत्कारी मंदिर
भारत देश में हिंदू धर्म के हर देवी-देवता के कई मंदिर स्थापित है। इन सभी मंदिरों की प्राचीनता और रहस्य इनकी प्रसिद्धि का कारण है। आज हम देवी सरस्वती के 5 ऐसे ही मंदिरो के बारे में बात करने वाले हैं जो बहुत प्रसिद्ध हैं। देवी सरस्वती को ज्ञान और बुद्धि की देवी कहा जाता है। ज्योतिष के अनुसार इनकी …
Read More »चारधाम यात्रा का रोडमैप
हिमालय स्थित 11वें ज्योतिर्लिंग भगवान केदार और बैकुण्ठ धाम बद्रीनाथ सहित गंगोत्री और यमुनोत्री के कपाट भी श्रद्धालुओं के लिए खुल गए हैं। अक्षय तृतीया के मौके पर शुरू हुई चार धाम यात्रा इस बार पूरे देश में जिज्ञासा की वजह बनी हुई है। दरअसल 2013 में केदारनाथ में आए जलप्रलय के बाद इस यात्रा पर ब्रेक लग गया था। …
Read More »सूर्य मंदिर, मोढ़ेरा, मेहसाणा, गुजरात
यह मंदिर अहमदाबाद से लगभग 100 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। माना जाता है कि इस मंदिर का निर्माण सम्राट भीमदेव सोलंकी प्रथम ने करवाया था। यहां पर इसके संबंध में एक शिलालेख भी मिलता है। सोलंकी सूर्यवंशी, वे सूर्य को कुलदेवता के रूप में पूजते थे। इसलिए उन्होंने अपने आराध्य देवता की आराधना के लिए एक भव्य सूर्य …
Read More »रेणुका झील, नाहन, जिला सिरमौर, हिमाचल प्रदेश
त्रेतायुग के महान सम्राट मंधाता के पौत्र प्रतिसेनजित की रेणुका और बेणुका नाम की दो अत्यंत रूपवती कन्याएं थीं। राजा को अपने धन-वैभव पर बहुत अहंकार था तथा उन्होंने एक दिन अपनी दोनों पुत्रियों से पूछा कि तुम किसका दिया खाती हो। बेणुका ने तो कह दिया कि पिता जी हम तो आपका दिया खाती हैं मगर रेणुका बोली कि …
Read More »रावण पूजन, बिसरख गांव, ग्रेटर नोएडा, उत्तर प्रदेश
भारत में विजयदशमी पर्व बुराई पर अच्छाई की जीत के रूप में मनाया जाता है। बुराई के प्रतीक के रूप में रावण का विशालकाय पुतला जलाया जाता है। कई स्थानों पर रावण के साथ-साथ मेघनाथ तथा कुम्भकरण के भी पुतले जलाए जाते हैं। आज रात को देश भर में हर्षोल्लास के साथ रावण दहन किया जाएगा। लेकिन ग्रेटर नोएडा के …
Read More »रावण का प्राचीन मंदिर, बदायूं, उत्तर प्रदेश
आम भारतीयों के मन में वैसे तो रावण एक खलनायक की तरह हैं, लेकिन उत्तर प्रदेश के बदायूं में एक मंदिर ऐसा भी है जहां लंकेश की विधिवत पूजा की जाती है। दशहरा पर बुराई के प्रतीक को जलाने की तैयारियों की धूम के बीच यह एक दिलचस्प तथ्य है। बदायूं शहर के साहूकार मुहल्ले में रावण का बहुत प्राचीन …
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