ऐसा नया साल: मनोज भावुक (born 2 January 1976) भोजपुरी में लिखने वाले एक भारतीय कवि, अभिनेता, टेलीविजन प्रस्तुतकर्ता और पटकथा लेखक हैं, जो भोजपुरी सिनेमा में सक्रिय हैं। उन्हें फिल्मफेयर और फेमिना भोजपुरी आइकॉन द्वारा “साहित्य में उत्कृष्ट योगदान” की श्रेणी में सम्मानित किया जा चुका है। उन्होंने कई पुरस्कृत पुस्तकें लिखी हैं। वह भोजपुरी भाषा और साहित्य को बढ़ावा देते हैं। भावुक ज़ी टीवी के रियलिटी शो सा रे गा मा पा (भोजपुरी) के प्रोजेक्ट हेड रह चुके हैं। वे थिएटर एक्टिंग में डिप्लोमा होल्डर हैं और उन्होंने टीवी शो, फिल्मों और धारावाहिकों में अभिनय किया है। उन्हें राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय सम्मान से सम्मानित किया जा चुका है। मनोज भावुक पहले व्यक्ति हैं जिन्होंने भोजपुरी सिनेमा के इतिहास पर गहन शोध और दस्तावेजीकरण किया।
ऐसा नया साल: मनोज भावुक
अबकी आए ऐसा नया साल,
हो जाए हर गाँव शहर खुशहाल।
भइया के मुँह से फूटे संगीत,
भौजी के कंगना से खनके ताल।
आए रे आए ऐसा मधुमास,
फूल खिलाए ठूंठ पेड़ के डाल।
झूम-झूम के नाचे मगन किसान,
इतना लदरे जौ गेहूँ के बाल।
दिन सोना के चाँदी के हो रात,
हर अंगना मे ऐसा होए कमाल।
मस्ती मे सब गाए मिल के फाग,
उड़े प्रेम का ऐसा रंग गुलाल।
लौटे रे लौटे गाँवों मे गाँव,
फिर से जमे ओ संझा का चौपाल।
∼ Poem by ‘मनोज भावुक‘
मनोज भावुक का जन्म 02 जनवरी 1976 को बिहार के सिवान जिले के कौसड़ गाँव में हुआ था। उनके पिता रामदेव सिंह एक मज़दूर नेता थे, और उनकी माँ एक गृहिणी हैं। उनके पिता हिंडाल्को, रेणुकूट के पहले यूनियन नेता थे, इसलिए मनोज का बचपन रेणुकूट में बीता। मनोज ने अपनी स्कूली शिक्षा हिंडाल्को हाई स्कूल से पूरी की। उन्होंने कम उम्र से ही कविताएँ और कहानियाँ लिखना शुरू कर दिया था। उन्होंने 2005 में अनीता सिंह से शादी की और अब उनके दो बच्चे हिमांशु और शिवांशु हैं।