हिमाचल प्रदेश के पंजाब सीमावर्ती क्षेत्र से सटा हुआ ऊना एक ऐतिहासिक जिला है जहां अनेक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल हैं। जिला मुख्यालय से मात्र दो कि.मी. की दूरी पर स्थित गांव कोटला कलां में स्थापित श्री राधा कृष्ण मंदिर आश्रम में राष्ट्रीय संत बाबा बाल जी के सान्निध्य में हर वर्ष फरवरी में एक विशाल धार्मिक सम्मेलन का आयोजन किया जाता है।
इस अवसर पर विराट शोभायात्रा निकाली जाती है जिसमें हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री स्वयं ठाकुर जी की पालकी उठाकर शोभा यात्रा का शुभारंभ कर सद्गुरु देव राष्ट्रीय संत बाबा बाल जी महाराज से आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। वार्षिक महासम्मेलन में वृंदावन धाम से श्रीमद् भागवत कथा के वाचक बुलाए जाते हैं।
स्वयं 13 दिन तक संत बाबा बाल जी महाराज उपस्थित रह कर श्रद्धालुओं को नामदान (दीक्षा) प्रदान करते हैं। इसके अलावा गुरुपूर्णिमा, व्यास पूजा तथा श्री कृष्ण जन्माष्टमी आदि धार्मिक आयोजन भी किए जाते हैं। मंदिर में हर संक्रांति तथा एकादशी पर्व को भी बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है।
मंदिर के प्रवेश द्वार को रास्ते की ओर खुला करने के लिए अन्य भूमि भी खरीदी गई है जिससे रास्ता और भी खुला हो जाएगा। श्री वृृंदावन धाम में बाबा बाल जी के सान्निध्य में नवनिर्मित आश्रम श्री नीलमाधव कृपा धाम का उद्घाटन 29 जुलाई, 2011 को हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री प्रो. प्रेम कुमार धूमल द्वारा किया गया जो अब श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र बनकर उभरा है।
बाबा बाल जी महाराज को वृंदावन के श्रद्धालु ‘पंजाबी बाबा’ के नाम से भी जानते हैं। यहां जून-जुलाई में आयोजित वार्षिक विशाल धार्मिक समागम में ऊना से हजारों की तादाद में श्रद्धालुओं व बाबा बाल जी के अनुयायियों के पहुंचने की तैयारियों में श्रद्धालु जुट गए हैं।
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