डोकहर राज राजेश्वरी मंदिर, बिहार: विराजमान मूर्तियां करती हैं आपस में बातें
माता राजेश्वरी का मंदिर बिहार में स्थित है, जहां रोजाना एक अजीब सा चमत्कार देखने को मिलता है जिस कारण ये मंदिर प्रसिद्धि हासिल किए हुए हैं। परिसर में त्रिपुर सुंदरी की प्रतिमा के अलावा बगलामुखी माता, तारा माता, दत्तात्रेय भैरव, बटुक भैरव, अन्नपूर्णा भैरव, काल भैरव, भगवान गणेश, शिव, मातंगी भैरव के साथ-साथ यहां दस महाविद्याएं काली, त्रिपुर भैरवी, धुमावती, तारा, छिन्नमस्ता, षोडशी, मातंगी, कमला, उग्र तारा, भुवनेश्वरी आदि की भी मूर्तियां विराजमान हैं। इन दस महाविद्याओं को तांत्रिक प्रकृति की माना जाता है। इसी कारण इस परिसर के प्रति तांत्रिकों में एक अटूट आस्था है।
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विराजमान मूर्तियां करती हैं आपस में बातें
कहा जाता है कि यहां किसी के न होने पर भी कई तरह की आवाजें सुनाई देती हैं। मान्यता के अनुसार यहां विराजमान मूर्तियां आपस में बातें करती हैं। पास से गुजरने पर ऐसा लगता है जैसे मंदिर में कोई इंसान बातें कर रहा है। परंतु अंदर जाकर देखने पर काई इंसान तो क्या परिंदा भी नहीं दिखता। ये सब देख यहां आने वाले लोग हैरान रह जाते हैं। आस-पास रहने वालों लोगो का कहना है कि मंदिर में विराजमान देवी-देवता एक दूसरे से बातेें करते हैं।
इस बात को नकारते हुए वैज्ञानिकों ने भी इस बात पर रिसर्च की, लेकिन आखिर में यहां किसकी आवाज गुंजती है इसका राज पता लगा पाने में वो भी असफल हुए। अब तो वैज्ञानिको ने भी मान लिया है कि इस मंदिर में कुछ तो घटित होता है और मंदिर में कोई न होने पर भी यहां शब्द गुंजते हैं।