हर साल की तरह इस बार भी सब तरफ क्रिसमस के नज़दीक आते ही चारो ओर ही जोरो शोरो से तैयारियां शुरू हो चुकी थी। नन्हा जेम्स भी अपनी खिड़की से बाहर बाज़ार की ओर झाँककर खुश हो रहा था। आज सन्डे था और उसके पापा ने चर्च ले जाने का वादा किया था और उसके बाद उसे क्रिसमस ट्री …
Read More »न्याय: घर की नौकरानी की रोजमरा के दुखों से टिक-टोक
“पाँच हज़ार रुपये दे दो बाबूजी…” धन्नो बाबूजी के पैरों पर अपना सिर रखे दहाड़े मार कर रो रही थी और बाबूजी निर्विकार भाव से बैठकर पेपर पढ़ रहे थे। रोते-रोते धन्नों की हिचकियाँ बंध गई थी और आँखें सूजकर लाल हो चुकी थी पर बाबूजी किसी बुत की तरह बिना हिले डुले चुपचाप अपनी आरामकुर्सी पर बैठे हुए थे। …
Read More »रिश्ता: बनते बिगड़ते रिश्तों की अनकही कहानी
शानू, असलम चाचू आये है जरा दो कप चाय तो बनाकर लाना। “अदरक वाली… कड़क…” असलम चाचा बोले, जिन्हें मैं प्यार से चाचू बोलती थी। “घर में तो अदरक की फैक्टरी लगी है ना… अभी अभी कई देशों में भेजी है हमने…” कहते हुए दादी के पूजा घर में घंटे और घड़ियाल जोरों से घर में बजने लगे थे। मैंने …
Read More »Friends Again: Inspirational Story of Classmates
“Come on Anmol, you can do it”, shouted Rohan. Anmol and Rohan were class six students of Saint Francis High School. The inter-house cross country for the junior group was in its last phase. Anmol, who was in Shivaji House, had completed the stretch from the school canteen, the starting point of the race, to the Stadium. Now all that …
Read More »राजा बन गया बंदर: घमंड में चूर राजा की प्रेरक कहानी
चंद्रपुर देश का राजा चाँदी सिंह दूर-दूर तक अपने सनकीपन के कारण मशहूर था। वह जब भी किसी बात को करने का ठान लेता तो पीछे ना हटता। कई बार तो उसकी मूर्खतापूर्ण बातों पर उसके मंत्री अपने सर पर हाथ रखकर बैठ जाते पर वे उससे कुछ ना कह पाते, क्योंकि चाँदी सिंह से कुछ भी कहने का अर्थ …
Read More »मिट्ठू: बेवजह चिंता जीवन में कायरता और विष भर देती है
अपने बगल में दूसरे तोते का पिंजरा लटका हुआ देख मिट्ठू को बड़ा आश्चर्य हुआ। “मुझे तो किसी ने बताया भी नहीं कि घर में दूसरा तोता आ रहा है” मिट्ठू ने सोचा। तभी सामने से चीनू उछलता कूदता आया और मम्मी से बोला – “मम्मी, मेरा तोता कब आएगा?” “पापा ने बोला है ना आ जाएगा, अब जाओ और …
Read More »जिंदगी से बड़ा इम्तिहान? असफलता में छिपी है सफलता
चंद पंक्तियों को माता पिता के आँसुओं पर भारी रखकर चले जाना और बड़ी आसानी से लिख देना “मैं आपकी अपेक्षाओं पर खरा नहीं उतर पाया… या फिर मेरा पेपर अच्छा नहीं हुआ, इसलिए मैं जा रहा हूँ हो सके तो मुझे माफ़ कर देना…”। बारहवीं की परीक्षा के मात्र दो पेपर होने के बाद ही समाचार पत्र मासूम बच्चों …
Read More »और रंग मुस्कुरा दिए: मंजरी शुक्ला
और रंग मुस्कुरा दिए: होली का त्यौहार आने वाला था। सारे घर में खुशी की लहर दौड़ रही थी। पापा मिठाइयों की लिस्ट बनाने में व्यस्त थे तो मम्मी नए कपड़े और पूजा का सामान लिख रही थी। मैं अपने दोस्तों के साथ ढेर सारे रंग और पिचकारियों के बारे में बात करता रहता था। सभी चिंता में थे कि …
Read More »वीडियो गेम: मंजरी शुक्ला की प्रेरणादायक हिंदी कहानी
चीनू की आँखों से लगातार पानी निकल रहा था पर चीनू की आँखें वीडियो गेम पर टिकी हुई थी। वह एक हाथ से बार-बार अपनी आँखें मसलता और फ़िर अपना चश्मा ठीक करते हुए तेजी से बटन दबाना शुरू कर देता। जैसे ही उसने दसवाँ लेवल पार कर लिया। वह ख़ुशी से उछल पड़ा और सोफ़े पर ही कूदने लगा। …
Read More »हँस दी गुड़िया: आजादी पाने की चाह
शो केस पर सजी हुई रंगबिरंगी गुड़िया बहुत देर से सड़क की और देख रही थी। कितने दिन हो गए थे, उसे फ़ैक्टरी से बन कर आये हुए, पर कोई भी अब तक खरीदने नहीं आया था।काँच की दीवार में रहना उसे बिलकुल पसंद नहीं था।उसने साथ खड़े झबरीले पूँछ वाले से मोती कुत्ते से पूछा – “दुकान के सभी …
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